Dear Sir,
main apne jivan se nirash ho chuka hun. shayad mujh jaise ka jeena hi bekar hai. meri kahani suniye aur ho sake to mujhe bacha lijiye.. bachapan me hi GUTKHA aur BHANG khane ki aadat lag gayi, karib 10 sal tal GUTKHA aur BHANG khane ke baad chhod diya. pura muh nahi khulta hai ho sakta hai muh mein cancer ho gaya ho. ab CIGRETT ME GANJA bhar kar pine ki lat lag chuki hai. last 2 years se CIGARET , GANJA AUR DARU ka sewan kar raha hun. sach puchhiye to ab mera LING bhi khada nahi hota. BIWI hai uske samne bar-bar sharm se gardan jhuk jati hai. NASHA chhodana chahata hu lekin chhod nahi pa raha hun. mere ek pair me hamesha dard bana rahta hai. har 30 minute bad PESHAB lag jata hai. bar -bar peshab karne jana padata hai. kya main NAPUNSAK ban chuka hun? ab to ATMHATYA karne ka man karta hai. mere dost ne apke baare mein bataya to mujhse raha nahi gaya. unhi ke madhyam se apni jindagi apke hawale kar raha hun. agar bacha lenge to bacha lijiye... nahi to ab andh era hi dikhai de raha hai.. jindagi ko bhulane chala tha ab khud ko bhul chuka hun.
yours
DIPAK
भाईसाहब आपकी समस्या के बारे में इतना बताना चाहता हूं कि आप यदि आत्म-नियंत्रण नहीं रखेंगे तो आप खुद को दवा खाने से भी रोक लेंगे। एक हाथ से दवा खाते रहना और दूसरे हाथ से जहर खाते रहना तो एकदम घोर मूर्खता है इसलिये आवश्यक है कि आप स्वयं पर अभ्यास से नशे को कम करने का प्रयास करें और इसी अभ्यास के साथ औषधियां लेना जारी रखिये ताकि जल्द से जल्द ठीक हो सकें। आप निम्न दवाओं को लीजिये-
१ . आरोग्यवर्धिनी वटी एक-एक गोली सुबह-दोपहर-शाम जल के साथ लीजिये।
२ . गोक्षुरादि गुग्गुलु एक गोली + मकरध्वज बटी एक गोली + रस सिंदूर १२५ मिलीग्राम को मिला कर एक मात्रा बना लीजिये और इसे दिन में तीन बार अश्वगंधारिष्ट के दो चम्मच के साथ सेवन करें।
३ . कौंचा पाक एक-एक चम्मच दिन में दो बार दूध के साथ सेवन करें।
दवाएं खाली पेट न लें। औषधि सेवन करने के दौरान यदि आप मांसाहार का सेवन करते हों तो उसे बंद कर दें। इन दवाओं का सेवन धैर्यपूर्वक करें क्योंकि यदि आप अगर चाहें कि आपने अपने शरीर का जो भयंकर नुकसान इतने समय में करा है वह मात्र कुछ दिन में पूरा हो जाए तो यह संभव नहीं है इसलिये कम से कम एक माह दवाएं लेने के बाद ही किसी परिवर्तन की उम्मीद करें,इस उपचार को कम से कम तीन माह तक लीजिये। अधिक तेल-मसाले का सेवन न करें। निराश न हों आप अवश्य ही स्वस्थ हो जाएंगे।
Translate
Archive
-
▼
2009
(88)
-
▼
जनवरी
(19)
- सोरायसिस नामक स्किन डिसीज़ से बहुत परेशान हूं
- मासिक धर्म(M.C.) महीने में दो-तीन बार तक हो जाता है
- मेरी समस्या भी बच्चे न होने की ही है लेकिन मेरी बी...
- पहले जैसी सेक्स की इच्छा नहीं रही
- मैं शायद बातों को भूल जाने लगा हूं
- बच्चे न हो पाने का कारण मेरी बीमारी Oligospermia है
- तीन साल से नज़ला की तकलीफ़ है
- भयंकर डायबिटीज है और पैरों में घाव हैं
- गर्भधारण न कर पाने की समस्या
- एक साल से दर्द के कारण हिलना-डुलना ही बंद है तो का...
- मैं premenstrual malaise से परेशान हूं,हार्मोन-उपच...
- पत्नी की बीमारी का नाम Acute catarrhal salpingitis...
- मोटापा बढ़ रहा है.....
- एक साल से पाइल्स से बहुत परेशान हूं.......
- बीमारी का नाम SPASMODIC DYSMENORRHOEA.......मेरी प...
- गांजा,भांग,शराब आदि के नशे से जिंदगी बर्बाद कर ली ...
- मेरी समस्या थायराइड की है
- गैस ट्रबल से परेशान हूं....
- बहन चंद्रलेखा शर्मा की ढेरों समस्याएं.....
-
▼
जनवरी
(19)
लोकप्रिय पोस्ट
-
Hello sir main saudi arabia main job karta hoon meri problem sex se related hai .sir maine do baar sex kiya hai dono bar main 4 sec ke andar...
-
Sir, Main ak 26 varshiy vivahit ladka hoon.meri samasya yeh hai ki 1. mere gupt ang mein thik se tanav nahi aata hai aur jo aata hai to kuc...
-
नमस्कार महोदय उम्र २९ वर्ष वजन ४३ केजी कद १६५सेमि ५'५'' दुबला शरीर, अविवाहित, अध्यनरत महोदय मै बहुत हि दुबला व कमजोर हू. कृपया म...
-
Namaskar Doctor Shahab. Me aapse apni samasya ka samadan chahta ho. sabse pahle me aapko apne bare me batana chahta ho meri aayo 21 year he ...
-
प्रणाम डॉक्टर साहब, सर्वप्रथम तो आपका बहुत-बहुत शुक्रिया जो आपने मेरी समस्या पर इतनी तत्परता से प्रतिक्रिया दी. आपको मैं थोड़े से विस्ता...
-
डॉ साहब ,आपको सादर नमस्कार . मैंने आपके बहुत सारे ब्लोग्स पढ़े हैं । वहाँ से प्रेरित होकर मई भी आप को मेल कर रहा हू आशा रख...
-
यह सभी वर्गों के पुरुषों के लिये अत्यंत उत्तम स्वास्थ्यवर्धक वटी ( टैबलेट) है जो कि बेहद प्रभावी तथा बहुमूल्य जड़ी-बूटियों का बेहतरीन मिश्रण ...
कुछ सुझाव
मंगलवार, जनवरी 06, 2009
गांजा,भांग,शराब आदि के नशे से जिंदगी बर्बाद कर ली है........
Published :
1/06/2009 05:40:00 am
Author :
डॉ.रूपेश श्रीवास्तव(Dr.Rupesh Shrivastava)
सदस्यता लें
टिप्पणियाँ भेजें (Atom)
Read in English
आप इन औषधियों को मात्र उत्पादन मूल्य पर हमसे मंगवा सकते हैं
अग्निकुमार रस
अर्शोघ्नी बटी
आनंद भैरव रस
अजीर्ण कंटक रस
अर्शकुठार रस
आमवातेश्वर रस
आमवातारि रस
अश्वकंचुकी(घोड़ाचोली)रस
अग्नितुंडी बटी
अमरसुंदरी बटी
आरोग्यवर्धिनी
बटी
आमलकी रसायन
इच्छाभेदी रस
उपदंश कुठार रस
उन्माद गजकेशरी
रस
एकांगवीर रस
एलादि वटी
कनकसुंदर रस
कफ़कुठार रस
कुष्ठकुठार रस
कफ़केतु रस
कुमारकल्याण रस
कामदुधा रस
कृव्यादि रस
कफ़कर्तरी रस
कल्पतरू रस
कामधेनु रस
कृमिकुठार रस
कृमिमुग्दर रस
कफ़चिंतामणि रस
कांकायन बटी
कन्यालोहादि बटी
खैरसार बटी
खदिरादि बटी
गंधक बटी
गंधक रसायन
गर्भपाल रस
गुड़मार बटी
गुल्मकुठार रस
ग्रहणीकपाट रस
ग्रहणी गजेन्द्र
रस
चंद्रप्रभा बटी
चतुर्भुज रस
चंद्रामृत रस
चंदनादि बटी
चंद्रान्शु रस
चतुर्मुख रस
चित्रकादि बटी
चिंतामणि
चतुर्मुख रस
चंद्रकला रस
चिंतामणि रस
चौंसठ प्रहरी
पीपल
जवाहरमोहरा
दंतोद्भेदगदान्तक
रस
हिंगुलेश्वर रस
हृदयार्णव रस
हिंग्वादि बटी,
ज्वरांकुश रस
जयमंगल रस
लघुमालिनी बसंत
रस
लहशुनादि बटी
लवंगादि बटी
लक्ष्मीनारायण रस
लक्ष्मीविलास रस
लक्ष्मीनारायण
रस(नारदीय)
लाई रस
लीलाविलास रस
लोकनाथ रस
मधुमेहनाशिनी बटी
महाज्वरांकुश रस
महाशंख बटी
महामृत्युंजय रस
महावात विध्वंसन
रस
महालक्ष्मी विलास
रस
मकरध्वज बटी
मन्मथाभ्र रस
मूत्रकृच्छान्तक
रस
मरिच्यादि बटी
मृत्युन्जय रस
नृपतिवल्लभ रस
नागार्जुनाभ्र रस
नष्टपुष्पान्तक
रस
नित्यानंद रस
पीयूषवल्ली रस
पूर्ण चंद्र रस
प्रदररिपु रस,
प्रवाल पंचाम्रत
रस
प्रतापलंकेश्वर
रस
प्रमेहगज केशरी
रस
पुष्पधन्वा रस
प्रदरारि रस
प्रदरान्तक रस
रसपीपरी रस
रसराज रस
रामबाण रस
रजःप्रवर्तिनी
बटी,
रसादि रस
रक्तपित्तान्तक
रस
संजीवनी बटी
संशमनी बटी
समीरपन्नग रस
सारिवादि बटी
सर्पगंधाघन बटी
सूतशेखर रस
श्रंगाराभ्र रस
स्मृतिसागर रस
सिद्धप्राणेश्वर
रस
सोमनाथ रस
शिलाजीत बटी,
शिलाजित्वादि बटी
शिलासिंदूर बटी,
शिरःशूलादिवज्र
रस
शिरोवज्र रस
शूलवज्रिणी बटी
शंख बटी
शंकर बटी
शूलगजकेशरी रस
श्वास कुठार रस,
श्वासकास
चिंतामणि रस
शीतांशु रस
शुक्रमात्रिका
बटी
त्रिभुवन कीर्ति
रस
त्रिमूर्ति रस,
त्रैलोक्य
चिंतामणि रस
तारकेश्वर रस
बोलबद्ध रस
ब्राह्मी बटी
वात गजांकुश रस
वातकुलान्तक रस
बसंत कुसुमाकर रस
वृहत वातगजांकुश
रस
वृहत बंगेश्वर रस
विरेचन बटी
वृहत वातचिंतामणि
रस
वृहत
गर्भचिंतामणि रस
वीर्यशोधन बटी
वृद्धिबाधिका बटी
व्योषादि बटी
विषतिंदुक बटी
व्याधिहरण रसायन,
वृहत कामचूड़ामणि
रस
योगेन्द्र रस
अभ्रक भस्म
(साधारण,शतपुटी,सहस्त्रपुटी)
अकीक पिष्टी/भस्म
हजरुलयहूद
भस्म/पिष्टी
गोदन्ती भस्म
जहरमोहरा खताई
भस्म/पिष्टी,
कुक्कुटाण्डत्वक
भस्म
कहरवा पिष्टी
कान्तसार लौह
भस्म
कपर्द(वराटिका)भस्म
कासीस भस्म
लौह भस्में
(तीन
प्रकार)
मण्डूर भस्म
श्रंग भस्म
मुक्ताशुक्ति
भस्म/पिष्टी,
नाग भस्म
प्रवाल
पिष्टी/भस्म
शंख भस्म
शुभ्रा(स्फटिका)
भस्म
स्वर्णमाक्षिक
भस्म
ताम्र भस्म
टंकण भस्म
त्रिबंग भस्म
बंग भस्म
यशद भस्म
कासीस गोदन्ती
भस्म
संगेजराहत भस्म
संगेयेशव
भस्म/पिष्टी
गोमेदमणि
भस्म/पिष्टी
माणिक्य
भस्म/पिष्टी
मुक्ता(मोती)भस्म/पिष्टी
नीलम भस्म/पिष्टी
पुखराज
भस्म/पिष्टी
चांदी(रजत)भस्म
पन्ना(तार्क्ष्य)भस्म/पिष्टी
लाजावर्त
भस्म/पिष्टी
अम्लपित्तान्तक
लौह
चंदनादि लौह
(ज्वर
व प्रमेह)
ताप्यादि लौह
(रजत/बिना
रजत)
धात्री लौह
नवायस लौह
प्रदरारि लौह
प्रदरान्तक लौह
पुनर्नवादि
मण्डूर
विषमज्वरान्तक
लौह
सर्वज्वरहर लौह
सप्तामृत लौह
शिलाजित्वादि लौह
यक्रदप्लीहारि
लौह
रक्तपित्तान्तक
लौह
शोथारि लौह
मेदोहर विडंगादि
लौह
अमृतादि गुग्गुल
आभा गुग्गुल
कांचनार गुग्गुल
कैशोर गुग्गुल,
गोक्षुरादि
गुग्गुल
पुनर्नवादि
गुग्गुल
लाक्षादि गुग्गुल
पंचतिक्तघृत
गुग्गुल
रास्नादि गुग्गुल
सप्तविंशतिको
गुग्गुल
सिंहनाद गुग्गुल,
त्रयोदशांग
गुग्गुल
त्रिफला गुग्गुल
योगराज गुग्गुल
महायोगराज
गुग्गुल
वातारि गुग्गुल,
मेदोहर(नवक)
गुग्गुल
अभ्रक पर्पटी
स्वर्ण पर्पटी
बोल पर्पटी
लौह पर्पटी
प्राणदा पर्पटी
ताम्र पर्पटी
पंचामृत पर्पटी
विजय पर्पटी
रस पर्पटी
शीतल पर्पटी
श्वेत पर्पटी
मकरध्वज
चंद्रोदय
मल्ल सिंदूर
मल्ल चंद्रोदय
रस सिंदूर
शिला सिंदूर
स्वर्णबंग
ताल सिंदूर
रसमाणिक्य,
शिलाजीत(गीला/सूखा)
स्वर्णबंग क्षार
0 आप लोग बोले:
एक टिप्पणी भेजें